चिन्मस्तिका देवी: Devi Chhinnamasta

  चिन्मस्तिका देवी का स्वरूप चिन्मस्तिका देवी का स्वरूप अद्भुत और असामान्य है। उनके इस अद्वितीय रूप का गहरा आध्यात्मिक और प्रतीकात्मक महत्व है। मस्तक का स्वयं बलिदान: देवी ने अपने ही मस्तक को काटकर उसे हाथ में थाम रखा है। उनके गले से तीन धाराओं में रक्त प्रवाहित हो रहा है, जो जीवन, मृत्यु और पुनर्जन्म का प्रतीक है। तीन रक्त की धाराएँ: पहली धारा देवी के मुख में जा रही है। अन्य दो धाराएँ उनके दोनों सहायकों या दासियों के मुख में जा रही हैं, जो तृप्ति और भक्ति का प्रतीक हैं। कमल पर खड़े रहना: देवी एक विशाल कमल के फूल पर खड़ी हैं, जो ब्रह्मांडीय चेतना और शुद्धता का प्रतीक है। शिव पर खड़े रहना: देवी अपने चरणों से भगवान शिव के शरीर पर खड़ी हैं, जो जड़ता (passivity) और शक्ति (energy) के सामंजस्य को दर्शाता है। आभूषण और माला: उनके गले में नरमुंडों की माला और शरीर पर साधारण आभूषण हैं, जो जीवन की क्षणभंगुरता और मृत्यु की अपरिहार्यता को दर्शाते हैं। दासी रूप में संगिनी: उनके दोनों ओर उनकी सहायक दासियाँ हैं, जो उनके दिव्य बल और शक्ति में सहयोगी हैं। पौराणिक कथा और महत्व चिन्मस्तिका देवी के इस र...

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चंडीगढ़ में अनलॉक-4 को लेकर नया आर्डर जारी


चंडीगढ़ । चंडीगढ़ एडमिनिस्ट्रेशन ने  होटल व रेस्टोरेंट्स को लिकर बार खोलने की परमिशन दे दी है। अब नाइट कर्फ्यू भी चंडीगढ़ में हटा दिया गया है। अब किसी के देर रात तक बाहर आवाजाही पर कोई पाबंदी नहीं रहेगी। पंजाब राजभवन में कोविड-19 वार रूम मीटिंग में प्रशासक ने अधिकारियों से चर्चा के बाद अनलॉक 4 के तहत आर्डर जारी किए हैं।  एक सितंबर से  आर्डर लागू हो जाएंगे। अभी मार्केट में ओड इवन सिस्टम पहले की तरह जारी रहेगा। इसी सप्ताह शुक्रवार को इस पर फैसला लिया जाएगा। सुखना लेक पर वीकेंड पाबंदी अभी जारी रहेगी इस पर भी आने वाले दिनों में फैसला लिया जाएगा।

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